कोरोना महामारी हेतु प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर डाॅ हरक सिंह रावत ने मुख्यमंत्री राहत कोष में दिए 25 करोड़, मौसम की भविष्यवाणी हुई सही सिद्ध, बद्रीनाथ क्षेत्र में टूटा ग्लेशियर, लामबगड़ क्षेत्र में बादल फटने से भारी टूट फूट चकराता में तीन लोग लापता, पूर्व शिक्षा मंत्री नरेन्द्रसिंह भंडारी और संस्कृति कर्मी रामरतन काला के निधन पर संस्कृति मंत्री सतपाल महाराज ने दी श्रध्दांजलि, कोरोना संक्रमण से बचाव हेतु चमोली जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग ने किया गांवों पर फोकस, अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद गोपेश्वर द्वारा “कोविड सेवा अभियान” हेतु गांवों में मास्क व सैनिटाइजर दिए

✍️हरीश मैखुरी

वन एवं पर्यावरण मंत्री डा. हरक सिंह रावत ने प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से कोरोना से जंग लड़ने के लिए 25 करोड़ की धनराशि का योगदान मुख्यमंत्री राहत कोष में दिया। इस धनराशि का चेक उन्होंने आज मुख्यमंत्री श्री तीरथ सिंह रावत को सचिवालय स्थित कार्यालय में भेंट किया। मुख्यमंत्री ने इस सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर प्रमुख सचिव वन श्री आनंद वर्धन, सदस्य सचिव प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड श्री एसपी सुबुद्धि भी उपस्थित थे। इसके बाद मीडिया सेन्टर में आयोजित पत्रकार वार्ता में वन एवं पर्यावरण मंत्री डा. हरक सिंह रावत ने प्रदेश के सभी व्यक्तियों, संस्थाओं व संगठनों से आग्रह किया है कि वैश्विक महामारी की वजह से पैदा हुए इस संकट में अपना यथासंभव आर्थिक योगदान मुख्यमंत्री राहत कोष में दें ताकि सरकार इससे पर्याप्त संसाधन जुटाकर मजबूती के साथ कोरोना से लड़ाई लड़ सके। उन्होंने कहा कि पिछले साल भी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने 50 करोड़ की राशि कोरोना काल में मुख्यमंत्री राहत कोष में प्रदान की थी। उन्होंने कहा कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड हर साल पर्यावरण शुल्क लेता है। इससे हुई आमदनी से बोर्ड हमेशा सामुदायिक जिम्मेदारियों को भी बखूबी निर्वहन करता है। बोर्ड का कार्मिकों के वेतन आदि समेत का खर्च 20 करोड़ रुपया है। इस व्यय के बाद शेष बची राशि का उपयोग जनहित में भी किया जाता है। इसी मद से आज मुख्यमंत्री राहत कोष में बोर्ड से 25 करोड़ की राशि का सहयोग प्रदान किया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार के पास सीमित संसाधन हैं और कोरोना के खिलाफ लड़ाई लम्बी चल सकती है। वैज्ञानिकों का अनुमान है कि दूसरी लहर के बाद कोरोना की तीसरी लहर भी आ सकती है। ऐसे में सरकार को दूसरी लहर से निपटने के साथ ही तीसरी लहर के लिए भी तैयार रहना है। एकजुट होकर और सामूहिक सहभागिता से ही यह लड़ाई जीती जा सकती है। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण को एक साल से अधिक का समय हो गया है। हमें खुद को संभालने के साथ ही इस लड़ाई को जीतने में यथासंभव योगदान देना होगा। पर्याप्त धनराशि होने पर ही सरकार और अधिक संसाधन जुटा सकती है। उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में राज्य सरकार पूरे प्रदेश खासतैार पर पहाड़ी जिलों में ऑक्सीजन प्लांट लगा रही है। हर चिकित्सालय में ऑक्सीजन सिलेण्डर और कंसंट्रेटर मुहैया करवा रही है। आवश्यक चिकित्सकीय उपकरणों व दवाओं की खरीद बड़े पैमाने पर की जा रही है।

 देहरादून। उत्तराखण्ड सरकार द्वारा 17 मई को दिए गए कोरोना कर्फ्यू के आदेश में संशोधन करते हुए अब राशन, किराने के सामान की दुकानें एवं जनरल स्टोर दिनांक 21 मई को प्रातः 7:00 बजे से 12:00 बजे तक खोलने का निर्णय लिया गया है।
मुख्य सचिव ओमप्रकाश द्वारा जारी आदेश के अनुसार अब 21 मई को राशन, किराने व जनरल स्टोर की दुकाने सुबह 7:00 बजे से दोपहर 12:00 बजे तक खुली रहेंगी। इससे पहले ये दुकाने सुबह 10:00 बजे तक ही खुली रखने का आदेश था।
बिगब्रेकिंग – उपनल कर्मियों को हड़ताल की अवधि का भी मिलेगा वेतन, आज शासन ने इस आशय के आदेश जारी कर दिए हैं। 
देहरादून। उत्तराखंड में मौसम विभाग की भविष्यवाणी एक बार फिर सटीक रही, मौसम विज्ञान ने 19 और 20 मई को भारी बारिश की चेतावनी जारी की थी, प्रदेश के अधिकतर इलाकों में पिछले 36 घंटों से लगातार बारिश हो रही है। भारी बारिश के चलते लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। गोवा, मुंबई के बाद गुजरात के तटों से होता हुआ ताउते तूफान का असर उत्तर और पूर्व में भी देखा गया। इसके असर से राज्य के अधिकांश हिस्सों में दिनभर बारिश होती रही। मौसम विभाग ने गुरुवार को भी राज्य के नौ जिलों में भारी से बहुत भारी बारिश का रेड अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के मुताबिक, 20 मई को राज्य के उत्तरकाशी, चमोली, बागेश्वर, अल्मोड़ा, नैनीताल, चंपावत, ऊधमसिंहनगर, रुद्रप्रयाग, पिथौरागढ़ आदि जिलों में कहीं-कहीं भारी से बहुत भारी बारिश की आशंका है। राज्य के कुछ स्थानों में गर्जन के साथ आकाशीय बिजली चमकने और तीव्र बौछार की भी आशंका है। मैदानी क्षेत्रों में कहीं-कहीं झोंकेदार हवा 30 से 40 किलोमीटर की रफ्तार से चल सकती हैं। संवेदनशील इलाकों में भूस्खलन, चट्टान गिरने, सड़कों के अवरुद्ध होने, पहाड़ों में नदी-नालों का प्रवाह अचानक बढ़ने और निचले इलाकों में जलभराव के लिए प्रशासन एवं लोगों को अलर्ट रहने को कहा गया है। मौसम विभाग के वैज्ञानिक रोहित थपलियाल के अनुसार, 21 मई को भी राज्य में बारिश होगी। पिथौरागढ़, बागेश्वर, अल्मोड़ा, चम्पावत, नैनीताल जिलों में कहीं-कहीं गर्जन के साथ आकाशीय बिजली चमकने की आशंका है। बारिश का सिलसिला 22 और 23 मई के बाद भी जारी रह सकता है। समुद्र तटीय इलाकों में जमकर कहर बरपाने के बाद ताउते तूफान का रुख उत्तर पूर्व की ओर रहा और इसका पूरा असर हिमाचल, जम्मू, समेत उत्तराखंड पर भी रहा। बुधवार को राज्य में तपोवन, गरुड़, मसूरी, भगवानपुर, धनौरी, गंगोलीहाट, नई टिहरी, लैंसडौन, नैनीताल, पौड़ी, ऋषिकेश, थलीसैंण, जखोली समेत कई अन्य कस्बों में अच्छी बारिश दर्ज की गई। बारिश होने से इन जगह के तापमान में भी गिरावट आई है। मौसम विभाग के अनुसार, सौराष्ट्र से होता हुआ चक्रवाती तूफान उत्तर पूर्व की ओर बढ़ रहा है और पिछले छह घंटों के दौरान इसकी गति 11 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार रही।  उत्तर-पूर्वोत्तर की ओर बढ़ते हुए ताउते तूफान  का असर आज चमोली जनपद के बद्रीनाथ क्षेत्र में भी देखा गया जहां बद्रीनाथ में कुछ ग्लेशियर टूटने के वीडियो शोशल मीडिया पर मिल रहे हैं प्रशासन की ओर से न तो इसकी पुष्टि हुई न जान माल के नुकसान की खबर है। जबकि लामबगड़ में छोटी नदियों के उफान से सड़क बाधित हुई यहां एक नदी का सड़क पर इतना बहाव रहा कि ट्रक सड़क पर से बहने लगा तो ड्राईवर ने ट्रक छोड़कर जान बचाई। देहरादून के चकराता में बादल फटने की खबर हैं, चकराता तहसील के बिजनू के समीप बिजनाड छानी में बादल फटने से कोल्हा गांव में मकान ध्वस्त होने से 03 लोगों की मृत्यु की सूचना है पुलिस व एसडीआरएफ टीम मौके पर राहत एंव बचाव कार्यों में जुटी हैं। आपदा परिचालन केन्द्र से प्राप्त सूचना के अनुसार आज तहसील चकराता क्षेत्रान्तर्गत प्रातः लगभग 9ः55 बजे ग्राम पंचायत जोगियों, ग्राम कवांसी के बिजनाड़ छानी में भारी वर्षा के कारण मकान क्षतिग्रस्त हो गया, जिसमें एक ही परिवार के तीन सदस्यों की मृत्यु हो गई। मृतकों में मुन्ना पुत्र श्री गुन्ता 32 वर्ष, कु0 काजल पुत्री श्री शीशपाल उम्र 13 वर्ष, कु0 साक्षी पुत्री मुन्ना उम्र 13 वर्ष की घटना स्थल पर ही मृत्यु हो गई। घायलों में श्रीमती बानो पत्नी मुन्ना उम्र 32 वर्ष, मा0 मुकुल पुत्र श्री मुन्ना उम्र 15 वर्ष, श्रीमती उषा पत्नी विक्रम उम्र 30 वर्ष, श्रीमती बालो देवी पत्नी श्री शीशपाल उम्र 31 वर्ष शामिल है। इस घटना में 15 बकरियां, 05 बैल, 05 गाय, 01 घोड़ा- खच्चर आदि मवेशी मारे जाने की सूचना है। मृतकों के परिजनों को 4-4 लाख रू0 अनुग्रह सहायता राशि तथा सामान एवं अन्य क्षतिपूर्ति के रूप में अहेतुक सहायता 5900 रू0 की धनराशि प्रत्येक मृतक के परिजन को उपलब्ध करा दी गई है। एक तरफ इस तरह की आपदा, एक तरफ कोरोना का कहर लोगों की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं

कोरोना के चलते लोग घरों में कैद है अति बारिश के कारण कपीरी कनखुल धनसारी क्षेत्रों में प्याज की फसल बर्बाद हो गयी है वहाँ भी इस आसमानी आफत ने लोगों की दिन की चैन रातों की नींद उड़ा दी है। 

 उत्तराखंड अंतरिक्ष उपयोग केंद्र के निदेशक डॉ0 Mahendra Pratap Singh Bisht के एक संदेश में बिगड़े मौसम की आशंकाओं और दुर्घटना से सचेत किया गया है। सुबह से कई स्थानों पर लगातार वर्षा तथा कुछ स्थानों में आपदाओं की घटनाओं की दृष्टि से पहाड़वासियों के लिए अतिरिक्त सतर्कता बनाये रखने की आवश्यकता है। पहले से ही आपदाओं का दंश झेल रहे उत्तराखंड पर ताउते का यह झटका बिना किसी नुकसान के चले जाय बद्रीविशाल से यही प्रार्थना है। 

*शिक्षा के क्षेत्र में बेहतर काम के लिए याद किये जायेंगे भण्डारीः महाराज* *नरेन्द्र सिंह भण्डारी के निधन को बताया अपूर्णीय क्षति* देहरादून। प्रदेश के पर्यटन, सिंचाई, धर्मस्व एवं संस्कृति मंत्री श्री सतपाल महाराज ने पूर्व शिक्षा मंत्री नरेंद्र सिंह भंडारी के निधन पर गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए इसे प्रदेश के लिए एक अपूर्णीय क्षति बताया है। उत्तराखंड के पूर्व शिक्षा मंत्री नरेंद्र सिंह भंडारी के निधन पर अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करते पर्यटन, सिंचाई, धर्मस्व एवं संस्कृति मंत्री श्री सतपाल महाराज ने इसे एक अपूर्णीय क्षति बताते हुए कहा कि श्री नरेंद्र सिंह भंडारी ऐसे शिक्षा मंत्री थे जिनके कार्यकाल में अध्यापकों ने कभी भी उनके खिलाफ कोई मोर्चा नहीं खोला। श्री महाराज ने बताया कि पूर्व शिक्षा मंत्री स्वर्गीय श्री भंडारी जी त्वरित निर्णय लेने के साथ साथ समस्याओं का समाधान समय पर करने में सक्षम थे। कैबिनेट मंत्री श्री सतपाल महाराज ने बताया कि श्री भंडारी जी ने अपने कार्यकाल में अनेक विद्यालयों का उच्चरण करने के साथ-साथ, हजारों प्राइमरी, माध्यमिक, एलटी और प्रवक्ता शिक्षकों की नियुक्ति का मार्ग प्रशस्त किया। उन्होने ने ही प्रदेश में सीबीएससी पाठ्यक्रम प्रारम्भ करवाया। इसलिए इसमें दोराय नहीं कि उन्होने शिक्षा मंत्री के रूप बेहतर कार्य किये थे। निश्चित रूप से एक अनुभवी राजनीतिज्ञ के जाने से प्रदेश में राजनीतिक रिक्तता का अनुभव हो रहा है। सतपाल महाराज ने संस्कृति कर्मी लोककलाकार एवं गढवाली के सुप्रसिद्द रंगकर्मी रामरतन काला जी के निधन का दुःखद समाचार पर भी गहरा दुख व्यक्त करते हुए भावभीनी श्रध्दांजलि दी है। बता दें कि कल रात्रि 10:15 बजे हृदय गति रुकने के कारण उनका देहांत हो गया। राम रतन काला दूरदर्शन और आकाशवाणी पर भी कार्यक्रम देते थे। उन्होंने अनेक फिल्मों में अभिनय भी किया। भगवान इन्हें अपने चरणों मे स्थान दें। ॐ शान्ति।breakinguttarakhand.com ग्रुप की ओर से दोनों महानुभावों को भावभीनी श्रध्दांजलि।

चमोली 20 मई,2021 (सू0वि0)   कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए हर परिवार को आइवरमेक्टिन दवा उपलब्ध कराई जा रही है। इसके लिए जिले में वृहद स्तर पर कार्ययोजना तैयार की गई है। जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया ने बुधवार देर सांय सभी संबधित अधिकारियों की बैठक लेते हुए बीएलओ के माध्यम से हर परिवार तक आइवरमेक्टिन दवा पहुॅचाने के निर्देश दिए है। अभी स्वास्थ्य टीमों के माध्यम से जहाॅ भी सैंपल लिए जा रहे है वहां पर यह दवा दी जा रही है।

  जिलाधिकारी ने कहा कि राज्य स्तरीय क्लीनिकल तकनीकी समिति की संस्तुति के बाद संक्रमण के प्रभाव को नियंत्रित करने और इसके गंभीर रूप लेने से पहले हर परिवार में 10 वर्ष से अधिक उम्र के नागरिकों के लिए तीन दिनों के लिए आइवरमेक्टिन दवा दी जानी है। जिसमें 10 से 15 वर्ष के बच्चों को 3 गोली तथा 15 से अधिक आयु वर्ग के लिए 6 गोली दी जा रही है।
  जिलाधिकारी ने आइवरमेक्टिन दवा को एक अभियान के तहत शत प्रतिशत लोगों तक बांटने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि ब्लाक स्तर पर स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से इसकी किट तैयार कराई जाए और स्वास्थ्य विभाग के अलावा बूथ लेवल आॅफिसर के माध्यम से जल्द से जल्द सभी लोगों तक दवा का वितरण सुनिश्चित किया जाए। जो लोग पिछले एक माह में आइवरमेक्टिन दवा ले चुके है तो वे बिना चिकित्सा परामर्श के यह दवा न ले।
  कोविड संक्रमण की रोकथाम के लिए उपलब्ध मेडिसिन एवं स्वास्थ्य उपकरणों की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी ने बताया कि जिले में पिछले एक सप्ताह में विभिन्न संस्थानों से 70 आॅक्सीजन सिलेण्डर व 68 कन्सेन्टेटर और प्राप्त हुए है। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि इनमें से कुछ आॅक्सीजन सिलेण्डर और कन्सेंटेटर जिला अस्पताल में रखते हुए बाकी सभी कोविड केयर सेंटर और सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों में वितरित किया जाए। उन्होंने बताया कि सभी आशा, एएनएम एवं ग्राम पंचायत स्तर पर पल्स आक्सीमीटर, थर्मोमीटर एवं अन्य आवश्यक सामग्री उपलब्ध कराने के लिए खरीद भी कर ली गई है। उन्होंने स्वास्थ्य अधिकारियों को योजनाबद्व तरीके से एक सप्ताह के भीतर सभी आशा, एएनएम और ग्राम पंचायतों को अतिरिक्त पल्स आॅक्सीमीटर, थर्मोमीटर, पीपीई किट, फेस सील्ड, मास्क, सेनेटाइजर आदि सामग्री उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। कहा कि कोविड ड्यूटी में लगे बीएलओ, आंगनबाडी कार्यकत्री एवं अन्य कार्मिकों को भी कोविड सुरक्षा किट दी जाए और बायोवेस्ट मेडिकल सामग्री का उचित निस्तारण कराना भी सुनिश्चित करें।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी हंसादत्त पांडे, सीएमओ डा0 एमएस खाती, एसीएमओ डा0 उमा रावत, डीपीआरओ आरएस गुंजयाल, डीडीएमओ एनके जोशी उपस्थित थे।
आज अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद गोपेश्वर इकाई द्वारा “कोविड सेवा अभियान” के अन्तर्गत देवर गांव जाकर जरूरतमंद लोगों को मास्क सैनिटाइजर और साबुन वितरित किए गए। अब कोरोना धीरे धीरे गांव की ओर अधिक फैल रहा है जिससे कि हम सभी को अपने गांव सुरक्षित करने हैं इसके लिए यदि आपको किसी भी प्रकार की सहायता की आवश्यकता है तो आप हमसे संपर्क कर सकते हैं अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद इस कोरोना काल में हर जरूरतमंद के साथ खड़ी है। नोट- विशेष धन्यवाद राज्य मंत्री उत्तराखंड सरकार श्रीमती पुष्पा पास्वान जी का जिन्होंने की हमको एक छोटे से आग्रह पर मास्क और सैनिटाइजर उपलब्ध कराएं। और अगर कोई भी महानुभाव जरूरी सामग्री उपलब्ध करवा सकते हैं तो वह हमसे संपर्क कर सकते हैं हम उस सामग्री को जरूरतमंद लोगों तक पहुंचाने का कार्य करेंगे। आज जरूरत है तो मदद करने की।