प्रधानमंत्री मोदी की बाॅडी लैंग्वेज समझे मुख्यमंत्री?

व्योमेस जुगराण  

आप चाहें तो इसे बाल की खाल निकालना कह लें, पर ऐसा क्यों हुआ होगा कि एफआरआई परिसर, देहरादून  में विश्व योग दिवस के अवसर पर योग शिविर को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने एक बार भी मुख्यमंत्री का नाम नहीं लिया। जबकि
प्रधानमंत्री जहां कहीं जब भी लोगों को संबोधित करते हैं तो उनके साथ मंच पर मौजूद एक-एक व्यक्ति का नाम लेना नहीं भूलते, चाहे मंच पर संख्या कितनी ही क्यों न हों। इस बार तो मात्र चार जने थे- राज्यपाल, मुख्यमंत्री और केंद्र व राज्य के आयुष मंत्री। प्रधानमंत्री ने किसी का नाम नहीं लिया और ‘मंच पर मौजूद महानुभाव कहकर आगे बढ़ गए। जाहिर है मुख्यमंत्री और उनके आयुष मंत्री मन मसोस कर रह गए। इससे पहले मुख्यमंत्री ने कितनी बार प्र मं जी कहा इसे बताने की जरूरत नहीं । पहले एयरपोर्ट पर भी मुख्यमंत्री के प्रति प्रधानमंत्री मोदी की बाडी लैंगुएज बहुत उत्साह जनक नोटिस नहीं की गयी बताया जा रहा है कि उत्तराखंड में चल रहे केन्द्र और राज्य सरकार की योजनाओं की कार्य प्रगति के जायजे से भी प्रधानमंत्री बहुत संतुष्ट नहीं । 2019 के लिए  अब समय कम और काम बहुत हैं मुख्यमंत्री जी संकेतों को पकड़ लो?