इमरजेंसी में जीवन रक्षा के अचूक उपाय जिन्हें घर पर ही अपना सकते हैं

 #जीवन_रक्षा_के_अचूक_उपाय।
आप चाहो तो इसे कॉपी पेस्ट कर अपनी वाल पर निःसंकोच डाल सकते हैं।
और अपने रेकॉर्ड में सुरक्षित रख सकते हैं।
क्योंकि
ये बहुत ही महत्वपूर्ण और अनुभूत प्रयोग हैं।
संग्रहणीय और जनोपयोगी भी हैं।
1. #गले_में_कुछ_फँस_जाए- 
तब केवल अपनी भुजाओं को ऊपर उठाएं।
एक बच्चे की 56 वर्षीय दादी घर पर टेलीविज़न देखते हुए फल खा रही थीं। 
जब वो अपना सर हिला रही थीं तभी अचानक एक फल का टुकड़ा उसके गले में फँस गया… उसने अपने सीने को बहुत दबाया पर कुछ भी लाभ नहीं हुआ!
जब बच्चे ने दादी को परेशान देखा तो उसने पूछा कि “दादी माँ क्या आपके गले में कुछ फँस गया है?” 
वो कुछ भी उत्तर नहीं दे पा रही थी।
“मुझे लगता है कि आपके गले में कुछ फँस गया है। अपने हाथ ऊपर करो, हाथ ऊपर करो”…
दादी माँ ने तुरंत अपने हाथ ऊपर कर दिए और वो शीघ्र ही फँसे हुए फल के टुकड़े को गले से बाहर थूकने में कामयाब हो गयी।
उसके पोते ने बताया कि ये बात उसने अपने विद्यालय में सीखी थी।
2. #सुबह_उठते_समय_होने_वाले_शरीर_के_दर्द।
क्या आपको सुबह उठते समय शरीर में दर्द होता है? क्या आपको सुबह उठते समय गर्दन में दर्द और अकड़न का आभास होता है? यदि आपको ये सब होता है तो तब आप क्या करें?
आप अपने पांव ऊपर उठाएं…! अपने पांव के अंगूठे को बाहर की ओर खींचे और हौले हौले उसकी मालिश करें और घड़ी की दिशा में एवं घड़ी की विपरीत दिशा में घुमाएँ ।
3. #पांव_में_आने_वाले_बॉयटा_या_ऐठन।
यदि आपके बाएँ पांव में बॉयटा आया है तो अपने दाएँ हाथ को जितना ऊपर उठा सकते हैं उठायें।
यदि ये बॉयटा आपके दाएँ पांव में आया है तो आप अपने बाएँ हाथ को जितना ऊपर ले जा सकते हैं ले जायें। 
इससे आपको तुरंत आराम आएगा।
4. #पांव_का_सुन्न_होना।
यदि आपका बायां पांव सुन्न होता है तो अपने दाएं हाथ को बलपूर्वक बाहर की ओर झुलायें अथवा झटके दें। यदि आपका दायां पांव सुन्न है तो अपने बाऐं हाथ को बलपूर्वक से बाहर की ओर झुलायें अथवा झटका दें।
5. #आधे_शरीर_में_लकवा।
एक सिलाई वाली सुई लेकर तुरन्त ही कानों की लोलिका के सबसे नीचे वाले भाग में सुई चुभा कर एक एक बूंद खून निकालें… इससे रोगी को तुरंत आराम आ जायेगा। उपर से पक्षाघात के लक्षण भी लगभग मिट जायेंगे।
6.#हृदयाघात_के_कारण_हृदय_का_रुकना।
ऐसे व्यक्ति के पांव से जुराबें उतार कर (यदि पहनी हुई हैं तो) सुई से उसके दोनों पैरों की दसों उंगलियों में सुई चुभो कर एक एक बूंद रक्त की निकालें। 
इससे रोगी तुरन्त उठकर बैठ जाएगा।
7.#यदि_रोगी_को_सांस_लेने_में_कठिनाई_हो।
 
चाहे ये दमा से हो अथवा ध्वनि तंत्र की सूजन के कारण अथवा और कोई कारण हो, जब तक कि रोगी का चेहरा सांस न ले पाने की वजह से लाल हो उसकी नासिका के अग्रभाग पर सुई से छिद्र कर दो बून्द काला रक्त निकाल दें।
यदि किसी को चक्कर आ जाए और वह नीचे गिर जाए या चक्कर आने जैसा हो तो उसे ही बाएं या दाएं तरफ को जमीन में लिटायें, सीधा न लिटायें इससे उसकी जीभ गले में घुस सकती है जिससे आक्सीजन सप्लाई बाधित हो सकती है। ध्यान रहे चक्कर आने या हृदय रोग में सिर नीचे रक्खें और पैरों को उपर उठायें ताकि रक्त संचार ब्लड फ्लो सिर फेफड़े हृदय की तरफ रहे नान बाईटल से (बाईटल आर्गन) की ओर हो। यदि व्यक्ति के दांत किट गये बंद हो गये तो उसके मुंह में जबर्दस्ती कुछ न डालें केवल अति हल्के और बारीक पानी के छिंटे मुंह पर मारे। कुछ देर में उसे होश आ जायेगा। हृदय घात हार्ट अटैक वाले व्यक्ति को उस समय थोड़ा भी पैदल न चलायें। बीस मिनट तक उक्त विधि से होश ना आये तो तुरंत डाक्टरी परामर्श लें। 
उपरोक्त सभी विधियों से कोई खतरा नहीं है और ये केवल 10 सेकेंड में ही किये जा सकते हैं।