आज का पंचाग है आपका राशिफल, विवाह और शादी में भारी अंतर है, दुख हमारे ही प्रारब्ध से प्राप्त होते हैं जबकि सुख-समृद्धि ईश्वर की कृपा से आती है, ज्यादा बातूनी और अहंकारी होने से आयु कम होती है

*𝕝𝕝 卐 𝕝𝕝*
*श्री हरिहरौ*
*विजयतेतराम*

*सुप्रभातम*
*आज का पञ्चाङ्ग*
*_रविवार, १८ जून २०२३_*

सूर्योदय: 🌄 ०५:३८
सूर्यास्त: 🌅 ०७:१८
चन्द्रोदय: 🌝 ❌️❌️❌️
चन्द्रास्त: 🌜१९:५०
अयन 🌖 उत्तरायणे
(उत्तरगोलीय)
ऋतु: 🌡️ग्रीष्म
शक सम्वत:👉१९४५ (शोभकृत)
विक्रम सम्वत:👉२०८० (पिंगल)
मास 👉 आषाढ
पक्ष 👉 कृष्ण
तिथि 👉 अमावस्या
(१०:०६ से प्रतिपदा)
नक्षत्र 👉 मृगशिरा (१८:०६
से आर्द्रा)
योग👉गण्ड(२५:०० से वृद्धि
प्रथम करण👉नाग(१०:०६ तक)
द्वितीय करण 👉 किंस्तुघ्न
(२२:४३ तक)
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॥ गोचर ग्रहा: ॥
🌖🌗🌖🌗
सूर्य 🌟 मिथुन
चंद्र 🌟 मिथुन
मंगल 🌟 कर्क
(उदित, पश्चिम, मार्गी)
बुध🌟वृष(उदय,पूर्व,मार्गी)
गुरु🌟मेष(उदित,पश्चिम,मार्गी)
शुक्र🌟कर्क(उदित, पश्चिम)
शनि 🌟 कुम्भ
(उदित, पूर्व, मार्गी)
राहु 🌟 मेष
केतु 🌟 तुला
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शुभाशुभ मुहूर्त विचार
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अभिजित मुहूर्त 👉 ११:५० से १२:४६
अमृत काल 👉 ०८:४१ से १०:२४
विजय मुहूर्त 👉 १४:३९ से १५:३५
गोधूलि मुहूर्त 👉 १९:१९ से १९:३९
सायाह्न सन्ध्या 👉 १९:२० से २०:२० निशिता मुहूर्त 👉 २३:५८ से २४:३८
राहुकाल 👉 १७:३५ से १९:२०
राहुवास 👉 उत्तर
यमगण्ड 👉 १२:१८ से १४:०४
होमाहुति 👉 सूर्य
दिशाशूल 👉 पश्चिम
अग्निवास 👉 पृथ्वी
चन्द्र वास 👉 पश्चिम
शिववास 👉 गौरी के साथ (१०:०६ से श्मशान में)
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☄चौघड़िया विचार☄
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॥ दिन का चौघड़िया ॥
१ – उद्वेग २ – चर
३ – लाभ ४ – अमृत
५ – काल ६ – शुभ
७ – रोग ८ – उद्वेग
॥रात्रि का चौघड़िया॥
१ – शुभ २ – अमृत
३ – चर ४ – रोग
५ – काल ६ – लाभ
७ – उद्वेग ८ – शुभ
नोट– दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है। प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है।
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शुभ यात्रा दिशा
🚌🚈🚗⛵🛫
पश्चिम-दक्षिण (पान का सेवन कर यात्रा करें)
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तिथि विशेष
🗓📆🗓📆
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देव कार्ये आषाढी अमावस्या, रानी झाँसी पुण्य दिवस आदि।
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आज जन्मे शिशुओं का नामकरण
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आज १८:०६ तक जन्मे शिशुओ का नाम मृगशिरा नक्षत्र के तृतीय एवं चतुर्थ चरण अनुसार क्रमशः (क, की) नामाक्षर से तथा इसके बाद जन्मे शिशुओ का नाम आर्द्रा नक्षत्र के प्रथम एवं द्वितीय चरण अनुसार क्रमशः (कु, घ) नामक्षर से रखना शास्त्रसम्मत है।
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उदय-लग्न मुहूर्त
मिथुन – २९:०९ से ०७:२४
कर्क – ०७:२४ से ०९:४५
सिंह – ०९:४५ से १२:०४
कन्या – १२:०४ से १४:२२
तुला – १४:२२ से १६:४३
वृश्चिक – १६:४३ से १९:०२
धनु – १९:०२ से २१:०६
मकर – २१:०६ से २२:४७
कुम्भ – २२:४७ से २४:१३
मीन – २४:१३ से २५:३६
मेष – २५:३६ से २७:१०
वृषभ – २७:१० से २९:०५
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पञ्चक रहित मुहूर्त
शुभ मुहूर्त – ०५:१५ से ०७:२४
रज पञ्चक – ०७:२४ से ०९:४५
शुभ मुहूर्त – ०९:४५ से १०:०६
शुभ मुहूर्त – १०:०६ से १२:०४
रज पञ्चक – १२:०४ से १४:२२
शुभ मुहूर्त – १४:२२ से १६:४३
चोर पञ्चक – १६:४३ से १८:०६
शुभ मुहूर्त – १८:०६ से १९:०२
रोग पञ्चक – १९:०२ से २१:०६
शुभ मुहूर्त – २१:०६ से २२:४७
मृत्यु पञ्चक – २२:४७ से २४:१३
अग्नि पञ्चक – २४:१३ से २५:३६
शुभ मुहूर्त – २५:३६ से २७:१०
मृत्यु पञ्चक – २७:१० से २९:०५
अग्नि पञ्चक – २९:०५ से २९:१६
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आज का राशिफल
🐐🐂💏💮🐅👩
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मेष🐐 (चू, चे, चो, ला, ली, लू, ले, लो, अ)
आज के दिन आपके विचार तो उच्च रहेंगे परन्तु कर्म इसके अनुरूप ना होने से अन्य लोगो की तुलना में स्वयं को पिछड़ा अनुभव करेंगे। आज आप अपनी पुरानी गलतियों की समीक्षा कर पश्चाताप भी करेंगे महिलाये भी अपने मन मे ही खोई रहेंगी कार्य के बीच मे टोकाटोकी करने से झगड़ भी पड़ेंगी। आज आपको सहयोग करने वालो की कमी नही रहेगी लेकिन अहम की भावना के चलते किसी का सहयोग लेना पसंद नही करेंगे। आज कार्य व्यवसाय में परिश्रम के बाद ही संतोष जनक स्थिति हांसिल कर पाएंगे। धन लाभ आंशिक मात्रा में परन्तु आवश्यकता के समय हो जायेगा।

वृष🐂 (ई, ऊ, ए, ओ, वा, वी, वू, वे, वो)
आज का दिन आपके लिऐ अपेक्षा अनुसार तो नही फिर भी संतोषजनक रहेगा। प्रातः काल से ही किसी से पुराने विवाद के कारण मन विचलित रहेगा फिर भी विवेक शक्ति आज जागृत रहने पर किसी भी बात को ज्यादा तूल नही देंगे। कार्य क्षेत्र पर छोटी मोटी समस्याएं बनी रहेंगी फिर भी आवश्यकता अनुसार धन की आमद हों जायेगी। नौकरी पेशा जातक आज अतिरिक्त आय बनाने के चक्कर मे कुछ ना कुछ युक्ति लगाते रहेंगे इसमें आंशिक रूप से ही सफलता मिल सकेगी। महिलाये घरेलू कार्यो के साथ ही आध्यात्म में भी मगन रहेंगी। दूर रहने वाले स्वयजनो से शुभ समाचार मिलेंगे महिलाओ को जलन भी रहेगी।

मिथुन👫 (का, की, कू, घ, ङ, छ, के, को, हा)
आज के दिन परिस्थितियां आपके अनुकूल रहेंगी। दिन के आरंभ में कुछ कार्यो को लेकर दुविधा होगी लेकिन शीघ्र ही किसी अनुभवी का मार्गदर्शन मिलने से स्थिति स्पष्ट हो जाएगी। शेयर अथवा अन्य जोखिम वाले कार्यो से अकस्मात लाभ होने की सम्भावना है। भागीदारी के कार्य से भी आशाजनक प्रगति होगी। नौकरी अथवा व्यवसाय से जुड़ी महिलाओ में आज अन्य लोगो के प्रति हीन भावना रहेगी जिससे प्रेम सम्बन्धो में खटास आएगी। संध्या का समय मनोकामना पूर्ति वाला रहेगा परन्तु थकान अधिक रहने से उत्साहीनता दिखायेंगे। पारिवारिक वातावरण आपके व्यवहार पर निर्भर रहेगा। लंबी यात्रा की योजना बनेगी।

कर्क🦀 (ही, हू, हे, हो, डा, डी, डू, डे, डो)
आज आप अपने लापरवाह रवैये के कारण सेहत के साथ धन की हानि भी करवाएंगे। आज आप जिस भी कार्य का निर्णय लेंगे उनमे से अधिकांश गलत साबित होंगे। आज किसी मित्र परिचित के दुख में सहभागी भी बनेंगे सार्वजनिक जीवन ज्यादा व्यस्त रहेगा जिससे स्वयं के कार्य अधूरे रह सकते है। नौकरी वाले लोग अपनी जीवन शैली से असंतुष्ट रहेंगे वही व्यवसायी वर्ग भी आज कारोबारी उठापटक से ऊबन अनुभव करेंगे धन लाभ के लिए किसी की मान गुहार करनी पड़ेगी।
महिलाये बीमार व्यक्ति की तीमारदारी के साथ ही परिवार में बिखरे माहौल को समेटने में व्यस्त रहेंगी।

सिंह🦁 (मा, मी, मू, मे, मो, टा, टी, टू, टे)
आज का दिन आपको आकस्मिक लाभ की प्राप्ति कराएगा। विरोधीयो की भी आपके आगे दाल नही गलेगी। नौकरी पेशा जातको के साथ ही आज व्यवसायियों को भी आवश्यकता पड़ने पर महिलाओ की विशेष मदद मिलेगी। बुजुर्ग का सहयोग मिलने से संतानो की तरफ से निश्चिन्त रहेंगे। कार्य व्यवसाय के साथ ही आज रिश्तेदारी के व्यवहार निभाने के चक्कर मे अधिक दौड़-धूप करनी पड़ेगी। खर्च भी बजट से अधिक करने पड़ेंगे परन्तु आय भी होने से ज्यादा अखरेंगे नही। धार्मिक कार्यो में रुचि होने पर भी व्यस्तता के चलते अधिक समय नही दे पाएंगे धार्मिक अनुष्ठानों भाग लेने अथवा देवदर्शन के योग है।

कन्या👩 (टो, पा, पी, पू, ष, ण, ठ, पे, पो)
आज का दिन पूरी तरह आपकी आशाओ पर खरा उतरेगा। व्यवसायी वर्ग आज खुल कर निर्णय ले सकेंगे। आज दुसरो के भरोसे कार्य ना छोड़े अन्यथा अधूरे रह सकते है स्वयं के बल पर लिए निर्णयों में जरूर सफलता मिलेगी। आर्थिक रूप से भी आज का दिन लाभदायक रहेगा। एक से अधिक स्त्रोत्रों से धन की आमद होगी। उधारी के व्यवहारों में कमी आने के साथ ही आज धन कोष में वृद्धि भी कर पाएंगे। परिवार में अविवाहितों के लिए योग्य रिश्ते आएंगे। घरेलू जीवन सुखदायक रहेगा। महिलाये घर मे अपनी चलाएंगी फिर भी सभी कार्य स्वयं के बल पर ही पूर्ण कर लेंगी।

तुला⚖️ (रा, री, रू, रे, रो, ता, ती, तू, ते)
आज का दिन आपके लिये भाग्योन्नति कारक रहेगा। पिछली गलतियों से सीख लेकर ही आज नए कार्य आरंभ करेंगे। मध्यान तक का समय व्यवसाय के लिए उदासीन रहेगा इसके बाद कार्यो में व्यवस्तता बढ़ेगी आर्थिक लाभ आज आवश्यकता से अधिक ही होगा। कार्य क्षेत्र पर आज नई मशीनरी अथवा अन्य उपकरण की खरीद हो सकती है। घर मे भी आज धन धान्य की वृद्धि होगी इन सब पर खर्च भी अधिक रहेगा लेकिन आय संतुलित होने से निश्चिन्त रहेंगे। पारिवारिक माहौल प्रसन्नता दायक रहेगा लेकिन अपने अकड़ू व्यवहार से स्वयं अपना हास्य करवाएंगे।

वृश्चिक🦂 (तो, ना, नी, नू, ने, नो, या, यी, यू)
आज के दिन आप सेहत को लेकर लापरवाही करेंगे इसके परिणाम आगे गंभीर भी हो सकते है। प्रातः काल से ही शरीर मे स्फूर्ति की कमी अनुभव होगी जिसके चलते दैनिक कार्य भी विलम्ब से पूर्ण होंगे। काम-धंधे की गति भी मध्यान तक सुस्त रहेगी संध्या के समय धन लाभ की संभावना बन रही है परन्तु आपके अड़ियल व्यवहार के कारण बने बनाये सौदे बिगड़ भी सकते है। घर मे किसी ना किसी के बीमार रहने से अतिरिक्त भाग-दौड़ करनी पड़ेगी दवाइयों पर भी खर्च होगा। लघु यात्रा के प्रसंग भी उपस्थित होंगे यथा संभव टालने की कोशिश करें। गहरे जल एवं ऊँचाई वाले स्थानों पर जाने से बचें

धनु🏹 (ये, यो, भा, भी, भू, ध, फा, ढा, भे)
आज का दिन आपको लगभग प्रत्येक कार्यो में विजय दिलाएगा जिस कार्य में हानि हो उसका कारण कोई अन्य व्यक्ति ही रहेगा। आर्थिक रूप से आज का दिन संतोषजनक रहेगा। व्यवसायियों को धन की प्राप्ति रुक रुक कर होती रहेगी वाणी की मिठास लाभ दिलाने में सहायक बनेगी। नौकरी वाले लोगो को किसी सहकर्मी का कार्य भी करना पड़ेगा इससे थोड़ी असुविधा तो बनेगी लेकिन लाभ भी मिलेगा। महिलाये आज वैसे तो प्रसन्न ही रहेंगी परन्तु इच्छा पूर्ति ना होने पर चुभने वाली बातें बोलकर घर का माहौल खराब करेंगी। सेहत सामान्य रहेगी।

मकर🐊 (भो, जा, जी, खी, खू, खा, खो, गा, गी)
आज का दिन आपके लिये आर्थिक उलझनों से भरा रहेगा फिर भी आज जिस व्यक्ति से कोई उम्मीद नही रखेंगे वह भी आपके लिए किसी ना किसी प्रकार से सहायक बनेगा लेकिन आज आप अपने उदासीन व्यवहार से बने बनाए लाभ के अवसर हाथ से निकाल देंगे बाद में इसकी ग्लानि भी होगी। पारिवारिक दायित्वों की पूर्ति हेतु धन को लेकर आज ज्यादा चिंतित रहेंगे आपकी परेशानी का हल शीघ्र ही निकल भी जाएगा महिलाये आर्थिक मामलों में मददगार रहेंगी। महिला मित्र भी आवश्यकता पड़ने पर सहायता के लिये स्वयं आगे आएंगी। परिवारक सदस्यों का महत्त्व जानेंगे। सेहत ठीक रहेगी लेकिन फिर भी आलस्य करेंगे।

कुंभ🍯 (गू, गे, गो, सा, सी, सू, से, सो, दा)
आज के दिन भी आपको अनुकूल फलों की प्राप्ति होगी परन्तु इसके लिए शारीरिक एवं बौद्धिक परिश्रम अधिक करना पड़ेगा। बैठे बिठाए राय देने वाले भी आज अधिक मिलेंगे इनको अनदेखा कर अपनी बुद्धि का इस्तेमाल करें परिश्रम का उचित फल अवश्य मिलेगा। नौकरी वाले लोगो को भाग-दौड़ अधिक रहेगी अधिकारी वर्ग आपके निर्णयों से सहमत रहेंगे आज अधिकारियों से अपना काम निकालने के लिये भी दिन उपयुक्त है। धन लाभ जिस समय उम्मीद नही होगी तब अकस्मात होगा। महिलाये परिवार के लिए सहयोगी रहेंगी सेहत थोड़ी शिथिल होने पर भी कार्य समय पर पूर्ण कर लेंगी।

मीन🐳 (दी, दू, थ, झ, ञ, दे, दो, चा, ची)
आज का दिन भी आपके लिए प्रतिकूल रहेगा। दिन भर किसी ना किसी कारण से मन बेचैन रहेगा। परिवार में भी सदस्यों के बीच मनमुटाव रहेगा स्त्री वर्ग से कलह होगी। महिलाओ का गुस्सैल एवं जवाबदेने का व्यवहार माहौल को ज्यादा खराब करेगा। आज मौन साधन कलह से बचने का उत्तम उपाय है। कार्य व्यवसाय से भी आज ज्यादा उम्मीद ना करें धन लाभ बहुत इंतजार के बाद होगा जोकि खर्चो के हिसाब से नाकाफी रहेगा। सेहत भी आज डांवाडोल ही रहेगी थकान एवं शारीरिक शिथिलता कार्यो में बाधा डालेगी। सरकार विरोधी अनैतिक कार्यो से दूर रहें मान भंग की संभावना है।
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विवाह और शादी में अंतर 

हिन्दी साहित्यकारों से अपेक्षा रहती है कि
अपने लेखन में हिन्दी के अथाह शब्द सागर के मोती पिरोकर नयी पीढ़ी को उर्दूमय और अंग्रेजीमय बनने से बचायें।

यदाकदा हम सामान्य वार्ता में भी उर्दू शब्दों करते हैं
उदहारण के लिए ‘वैवाहिक वर्षगांठ’ को ‘शादी की सालगिरह’ लिख देते हैं। अब ये दिखती बड़ी सामान्य बात है लेकिन शब्दों में अर्थ का अनर्थ हो जाता है।

विवाह सात जन्मों का वंधन है जिसके वैदिक मंत्रों के साथ पवित्र अग्नि की सात परिक्रमा इंगित करती हैं कि
हम सुख-दुख के
लाभ हानि के
जन्म मरण के
यश-अपयश के
रोग शोक के
संपति विपत्ति के
संतति निसंतति के
लिए आपका वरण करते हुए पाणिग्रहण करते हैं।
आज से आप हमारे घर की गृह लक्ष्मी हैं
परिवार को पतन से बचाने वाली पत्नी हैं हमारे घर परिवार का भार वहन करने वाली भार्या हैं
जीवन पर्यंत साथ निभाने वाली जीवन संगिनी हैं
पतिव्रत को धर्म मानने वाली सहधर्मिणी हैं।
जिसमें पति अर्थात स्वामी का लक्ष्मी स्वरूपा सदैव के लिए वरण करती है
इसमें विवाह विच्छेद के लिए कोई जैसा स्थान ही नहीं है।

जबकि शादी मूलत रूप से अरबी शब्द ‘शाद’ से बना है। अरबी से फ़ारसी और फ़ारसी से उर्दू होते हुए हिन्दुस्तान में आया है। हिन्दी में शादी के लिए अनेक सुन्दर शब्द हैं यथा – विवाह, परिणय, ब्याह, पाणिग्रहण गठबंधन इत्यादि । शादी आजीवन वंधन ना हो कर संबन्ध यानी आंग्ल में कहें तो कंट्रक्ट है सालगिरह यानि एक वर्ष का संबंध रह गया तो बड़ी बात है इसलिए वे ‘साल गिरह’ मनाते हैं। तीन-बार त्रुटि से भी ‘तल्लाक’ शब्द बोल दिया तो विवाह संबंध समाप्त हो जाता है। तब यदि पत्नी को रखना को रखना भी चाहे तो हलाला इद्दत बिद्दत जैसे दुष्कर्मों से दो चार होना होता है। जब हम वर कन्या शब्द के स्थान पर ‘दुल्हा दुल्हन’ जैसे उर्दू शब्दों का प्रयोग करें तो एक दूसरे को दूहने या दोहन करने का भाव अर्थात् जब तक उपयोगिता तब तक का साथ।

लेकिन हम अनभिज्ञता वश इन उर्दू शब्दों का प्रयोग दैनिक जीवन में करते रहते हैं।
यही प्रयोग उर्दू के प्रत्येक शब्द का है जो अर्थ का अनर्थ करता है। यानी संस्कृति को विकृत कर देता है।

सरल शब्दों में कहें तो ‘शादी’ मुसलमानों दुल्हा दुल्हन में होती हैं हिन्दुओं के वर-वधू के तो विवाह संस्कार होते हैं।

शब्दों के भी अपने भाव और संस्कार हैं जिससे संस्कृति बनती है। हिन्दी में उर्दू शब्दों का अनावश्यक अतिक्रमण साहित्यिक भंजन है।

दुर्भाग्य से हिन्दी साहित्य संस्थान ने ऐसे उर्दूमय साहित्यकारों को सम्मानित भी किया है। यही विडम्बना हमारे मीडिया कर्मियों की भी है बलात् उर्दू शब्दों को चेंप कर बड़े मीडियाकर्मी कहे जाते हैं। सूचना विभाग भी उर्दू अतिक्रमण का शिकार है उपस्थित रहे की जगह मौजूद रहे लिखेगा।✍️हरीश मैखुरी 


*जीवन मे दुःखो के लिए हमारा दायित्व है ?*

*👉🏻ना भगवान,*
*👉🏻ना गृह-नक्षत्र,*
*👉🏻ना भाग्य,*
*👉🏻ना रिश्तेदार,*
*👉🏻ना पडोसी,*
*👉🏻ना सरकार,*

*जिम्मेदार आप स्वयं है*

*1) आपका सरदर्द, फालतू विचार का परिणाम*

*2) पेट दर्द, गलत खाने का परिणाम*

*3) आपका कर्ज, जरूरत से ज्यादा खर्चे का परिणाम*

*4) आपका दुर्बल /मोटा /बीमार शरीर, गलत जीवन शैली का परिणाम*

*5) आपके कोर्ट केस, आप के अहंकार का परिणाम*

*6) आपके फालतू विवाद, ज्यादा व् व्यर्थ बोलने का परिणाम*

*उपरोक्त कारणों के अलावा सैकड़ों कारण है जिनके कारण हम जीवन मे तकलीफ उठाते रहते है और बेवजह दोषारोपण दूसरों पर करते रहते है,*

*मेरा अस्वस्थ होना किसी प्राकृतिक नियम की अवहेलना मात्र है,*

*इसमें ईश्वर दोषी नहीं है*

*अगर हम इन कष्टों के कारणों पर बारिकी से विचार करें तो पाएंगे की कहीं न कहीं हमारी मूर्खताएं ही इनके पीछे है*

*● प्रकृति का नियम,कर्म का प्रतिकर्म,एक्शन का रिएक्शन, याद रखे दिमाग़ 95% व्यर्थ की बातें सोचता है, जो किसी काम की नहीं होती,सिर्फ भय उत्पन्न करती है..!!*
*🙏🏿🙏🏽🙏🏾जय जय श्री राधे*🙏🙏🏼🙏🏻
[6/18, 07:07] +91 98265 38134: 1️⃣8️⃣❗0️⃣6️⃣❗2️⃣0️⃣2️⃣3️⃣

*|| सौ वर्ष की आयु निर्धारित है किन्तु…||*
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*व्यास उज्जैन से-*
*शास्त्रों के अनुसार भगवान ने हर व्यक्ति की आयु सौ वर्ष निर्धारित की है। भगवान द्वारा इतनी आयु निर्धारित करने के बाद भी बहुत कम लोग इस उम्र तक पहुंच पाते हैं। ऐसा क्यों होता है, इस प्रश्न का उत्तर महाभारत में दिया गया है। महाभारत में बताया गया है कि कोई व्यक्ति किन कारणों से सौ वर्ष की आयु प्राप्त नहीं कर पाता है।*

*एक समय दुर्योधन के पिता धृतराष्ट्र ने विदुर से पूछा था कि जब भगवान ने सभी इंसानों की उम्र सौ वर्ष नियत की है तो कोई इंसान कम उम्र में कैसे मृत्यु को प्राप्त हो जाता है?*

*इस प्रश्न के उत्तर में विदुर ने जो जवाब दिया, वह आज के समय में भी बहुपयोगी है। उस समय विदुर द्वारा कही गईं बातें आज भी इंसान को लंबी उम्र तक जीवित रख सकती है। यदि आप भी लंबी आयु तक जीवित रहना चाहते हैं तो विदुर द्वारा बताई गई बातों का ध्यान हमेशा रखें।*

*👉ज्यादा बोलना- जो लोग व्यर्थ ही बोलते रहते हैं। अति वाचाल हैं। मौन धारण नहीं करते हैं, उनकी मृत्यु भी जल्दी हो जाती है। अधिक बोलने से हमें स्वस्थ रखने वाली शारीरिक ऊर्जा का नाश होता है। यदि हम समय -समय पर मौन धारण करें तो हमारी उम्र बढ़ सकती है। अन्यथा अधिक बोलने वाले लोग शारीरिक ऊर्जा की कमी के कारण लंबी उम्र तक जीवित नहीं रह पाते हैं।*

*👉अधिक अहंकार- विदुर ने धृतराष्ट्र से कहा कि यदि कोई अत्यंत अहंकारी हो जाता है तो यह निश्चित हो जाता है कि वह सौ वर्षों तक जीवित नहीं रह सकता है। अहंकार व्यक्ति के पुण्यों को खत्म करता है और शारीरिक रूप से कमजोर बनाता है। व्यक्ति अहंकार के वश में अच्छे और बुरे की पहचान नहीं कर पाता है।क्रोध इंसान का सबसे बड़ा शत्रु होता है। क्रोध वश हम कई बार गलत काम कर देते हैं, जिनसे भविष्य में हानि उठानी पड़ती है। क्रोध के कारण हमारी शारीरिक ऊर्जा भी बहुत अधिक मात्र में खत्म होती है। जिससे व्यक्ति की उम्र में कमी आती है। अधिक क्रोध करने वाले लोग कम उम्र में ही रोगी हो जाते हैं और सौ वर्ष की उम्र से बहुत पहले ही मृत्यु को प्राप्त होते हैं।*

*👉मित्रों को धोखा देना- जो लोग अपने घनिष्ट मित्रों को धोखा देते हैं, वे अवश्य ही किसी भयंकर मुसीबत में फंसते हैं और उस समय उनकी मदद करने वाला कोई नहीं होता है। जब कोई व्यक्ति एक बार किसी को धोखा देता है तो अन्य सभी लोग उस पर विश्वास करना बंद कर देते हैं। ऐसी परिस्थिति में जब विपरीत समय आता है और मित्रों की आवश्यकता होती है तो कोई मदद करने वाला नहीं होता है। विपरीत समय से मित्रों की मदद से ही निपटा जा सकता है, अन्यथा इस प्रकार की स्थितियां कभी-कभी मृत्यु तुल्य कष्ट प्रदान करती है। मोह रखना- जो लोग भौतिक सुख-सुविधाओं का मोह रखते हैं, शारीरिक श्रम नहीं करते हैं, स्वयं के शरीर को आलसी बना देते हैं, वे कम उम्र में ही रोगी होकर मृत्यु को प्राप्त होते हैं। हर रोज उचित शारीरिक श्रम करना हमें सेहतमंद बनाए रखता है। सुख-सुविधाओं का मोह छोड़कर स्वयं के शरीर को स्वस्थ बनाए रखने के लिए नियमित रूप से कुछ न कुछ शारीरिक क्रियाएं करते रहना चाहिए।*

*👉स्वार्थी होना- जो लोग स्वार्थी होते हैं, सिर्फ स्वयं के स्वार्थों की पूर्ति के लिए ही कर्म करते हैं, वे भी अधिक उम्र तक जीवित नहीं रह पाते हैं। ऐसे लोग मानसिक विकृति से ग्रसित हो जाते हैं। अत्यधिक स्वार्थी स्वभाव व्यक्ति को समय-समय पर मृत्यु के समान कष्ट प्रदान करता है।*

*|| महाकाल लोक उज्जैन से-व्यास ||*