चमोली — मुख्यमंत्री ने किया उर्गम जल विद्युत परियोजना का लोकापर्ण

संदीप .

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कल्पगंगा नदी पर स्थित उत्त्तराखण्ड जल विद्युत निगम (यूजेवीएन) द्वारा निर्मित 3 हजार किलोवाट की ‘‘उर्गम जल विद्युत परियोजना‘‘ का लोकापर्ण किया। शुक्रवार को मुख्यमंत्री पीपलकोटी से कार द्वारा लगभग 15 किमी दूरी पर स्थित हेलंग पहुॅचे, जहाॅ उन्होंने अलकनंदा की सहायक कल्पगंगा नदी पर पुर्ननिर्मित इस जल विद्युत परियोजना उद्घाटन किया।  

वैदिक म्ंात्रोचार के साथ लोकापर्ण करने के बाद अपने संबोधन में मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कल्पगंगा नदी पर बनी इस परियोजना को पर्वतीय क्षेत्र के विकास के लिए मील का पत्थर बताया। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस परियोजना से उत्पादित विद्युत द्वारा जहाॅ भरकी, भेटा, उर्गम, चाई-थाई, सलना, जोशीमठ, बडगाॅव सहित समीपवर्ती क्षेत्रों के लगभग 25 गाॅवों की विद्युत आपूर्ति में सुधार होगा वही स्थानीय बेरोजगार युवकों को इस परियोजना से रोजगार मिलेगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में लघु जल विद्युत परियोजनाओं की आपार सम्भावनाऐं है तथा छोटी-छोटी जल विद्युत परियोजनाआंें से जल शक्ति का पूरा सदुपयोग हो सकता है। कार्यक्रम के दौरान समाजिक कार्यकर्ता लक्ष्मण नेगी ने मुख्यमंत्री को कल्पेश्वर महादेव का प्रतीक चिन्ह भी भेंट किया।

जून 2013 में क्षतिग्रस्त उर्गम जल विद्युत परियोजना के पुर्ननिर्माण के लिए उत्तराखण्ड सरकार द्वारा 13.05 करोड़ की धनराशि उपलब्ध करायी गयी थी। आपदा के दौरान बाढ से इस परियोजना का हैड वक्र्स, पावर डक्ट, विद्युत गृह, टीआरसी तथा तथा लगभग 100 मीटर शक्तिनहर क्षतिग्रस्त होने के कारण उत्पादन बन्द हो गया था। 

मुख्यमंत्री ने शुक्रवार को ही पीपलकोटी में स्वामी विवेकानंद चैरिटेवल ट्रस्ट द्वारा बनाये गये चिकित्सालय का भी अवलोकन करते हुए कहा कि चारधाम यात्रा तथा स्थानीय लोगों के स्वास्थ्य हित में यह चिकित्सालय एक लाभाकारी स्वास्थ्य केन्द्र साबित होगा। मुख्यमंत्री ने पीपलकोटी में चल रहे सेना भर्ती पूर्व प्रशिक्षण शिविर में पुहॅचकर प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे युवाओं से भी भेंट करते हुए उनका मनोबल बढाया। 

इस अवसर पर बद्रीनाथ विधायक महेन्द्र भट्ट, भाजपा जिला अध्यक्ष मोहन प्रसाद थपलियाल, नगर पालिका अध्यक्ष जोशीमठ रोहिणी रावत, ऊर्जा सचिव राधिका झाॅ, जीएम विद्युत अजय पटेल, डीजीएम विद्युत सीएस राणा, ईई नवल कुमार चैधरी, हर्शबर्धन फोनिया, एई चन्द्र प्रकाश आदि मौजूद थे।