बिगब्रेकिंग : विधायक निधि हुई पांच करोड़ प्रति वर्ष, राज्य आन्दोलनकारियों और महिला मंगल दलों को भी धामी कैबिनेट की सौगात, भराड़ीसैंण बजट सत्र की कुछ झलकियां

रिपोर्ट – हरीश मैखुरी

महिला मंगल दलों को दी जाने वाली राशि 25 लाख से बढाकर 40 लाख की गई

मंदिरो के सौन्दर्य करण के लिए सालाना 25 लाख मिलते थे अब 50 लाख मिलेंगे

बैठक में लगभग 6 महत्वपूर्ण निर्णय लिए गये। 

राज्य की नई सौर ऊर्जा नीति को मिली मंजूरी। 

राज्य आंदोलनकारियों के 10 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण को मिली स्वीकृति। 

विधायक निधि भी 3 करोड़ 75 लाख से बढ़ाकर 5 करोड़ प्रतिवर्ष की गई। 

गैरसैण : उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारियों के लिए धामी सरकार ने ऐतिहासिक निर्णय लिया है। सोमवार को गैरसैण में हुई धामी सरकार की कैबिनेट बैठक में उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारियों एवं उनके परिजनों को प्रादेशिक नौकरियों में 10% क्षैतिज आरक्षण दिए जाने के विधेयक के प्रस्ताव को धामी कैबिनेट ने मंज़ूरी दे दी है।

उत्तराखंड में लंबे समय से राज्य आंदोलनकारियों को क्षैतिज आरक्षण दिए जाने को लेकर की मांग चल रही थी। पूर्व में नैनीताल हाईकोर्ट ने वर्ष 2011 में उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारियों को 10 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण पर रोक लगा दी थी। जिसके बाद से राज्य आंदोलनकारियों को क्षैतिज आरक्षण दिये जाने का यह विधेयक वर्ष 2016 से राजभवन में लंबित था। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस बाबत अपने स्तर से स्वयं राजभवन से अनुरोध किया। उनके अनुरोध पर 7 साल बाद पिछले साल राजभवन ने इसे लौटा दिया था। इधर धामी सरकार ने विधेयक की ख़ामियों को दूर करते हुए नए सिरे से प्रस्ताव तैयार किया। आंदोलनकारियों की माँग को लेकर सीएम धामी ने बड़ा मन दिखाते हुए प्राथमिकता के आधार पर इस प्रस्ताव को कैबिनेट से मंज़ूरी दे दी।

धामी सरकार ने अपने पहले कार्यकाल में उत्तराखंड राज्य आंदोलन के दौरान सात दिन जेल गए अथवा घायल हुए आंदोलनकारियों की प्रतिमाह एक हजार रुपए पेंशन बढ़ाकर 6000 रुपये किया था। जबकि सात दिन जेल अथवा घायल हुए आंदोलनकारियों की श्रेणी से अलग राज्य आंदोलनकारियों के लिए प्रतिमाह पेंशन राशि में 1400 रुपये की वृद्धि कर प्रतिमाह 4500 रुपये किया था।

गैरसैंण सत्र : राज्यपाल के अभिभाषण में केन्द्र और राज्य सरकार के विकास कार्यों का उल्लेख करते हुए धामी सरकार की उपलब्धियों और भावी कार्य योजनाओं का खाका प्रस्तुत किया।

विपक्ष ने राज्यपाल के अभिभाषण के दौरान भी की नारेबाजी व छींटाकसी की।

इस अवसर पर सरकार की ओर से कहा गया कि उत्तराखंड की देवतुल्य जनता के लिए एक बेहतर बजट बनाने का संकल्प राज्य सरकार ने लिया था। उसी संकल्प को ध्यान में रखते हुए बजट होगा। आम जनमानस के लिए जनकल्याणकारी नीतियों को लेकर आना, सरकार का मुख्य ध्येय है। 

ओल्ड पैंशन प्रणाली को पुनः लागू करने के लिए भी गैरसैंण में भारी प्रदर्शन किया गया। कांग्रेस ने भी महंगाई और बेरोजगारी के विरूद्ध कई बैरीकेट तोड़ कर दिवालीखाल में भारी प्रदर्शन किया। कांग्रेस प्रदर्शनकारियों ने नकल माफिया के विरूद्ध सीबीआई जांच नहीं कराये जाने पर भी गंभीर प्रश्न खड़े किए। 

भारतीय जनता पार्टी द्वारा प्रतिक्रिया कहा गया कि राज्यपाल के अभिभाषण में कांग्रेस द्वारा गतिरोध उत्पन्न करना एक अच्छी परम्परा नहीं है।

भाजपा ने कहा कि बेरोजगारों के नाम पर कांग्रेस ने जिस तरह प्रदर्शन किया इससे स्पष्ट हो गया कि देहरादून में भी बेरोजगारों के नाम पर हुए धरने प्रदर्शन के पीछे कौन थे।