🌺🙏 जय श्री गणेशाय नमः 🙏🌺
🌺🙏 जय माता दी 🙏🌺
🌺🙏 महर्षि पाराशर पंचांग 🙏🌺
🌺🙏 अथ पंचांगम् 🙏🌺
*दिनाँक:-12/01/2023, गुरुवार*
पंचमी, कृष्ण पक्ष,
माघ दिल्ली
तिथि———– पंचमी 16:36:33 तक
पक्ष————————- कृष्ण
नक्षत्र—- पूर्वा फाल्गुनी 14:23:26
योग———- सौभाग्य 12:30:49
करण———– तैतुल 16:36:33
करण————– गर 29:30:26
वार———————- गुरूवार
माह————————– माघ
चन्द्र राशि——– सिंह 20:58:45
चन्द्र राशि——————–कन्या
सूर्य राशि——————— धनु
रितु———————— शिशिर
आयन—————— दक्षिणायन
संवत्सर——————- शुभकृत
संवत्सर (उत्तर) ———————-नल
विक्रम संवत—————- 2079
गुजराती संवत————– 2079
शक संवत—————– 1944
दिल्ली
सूर्योदय————— 07:16:41
सूर्यास्त—————- 17:42:09
दिन काल————- 10:25:27
रात्री काल————- 13:34:29
चंद्रास्त—————- 10:38:32
चंद्रोदय—————- 22:28:53
लग्न—- धनु 27°23′ , 267°23′
सूर्य नक्षत्र————- उत्तराषाढा
चन्द्र नक्षत्र———– पूर्वा फाल्गुनी
नक्षत्र पाया——————- रजत
*🚩💮🚩 पद, चरण 🚩💮🚩*
टी—- पूर्वा फाल्गुनी 07:46:39
टू—- पूर्वा फाल्गुनी 14:23:26
टे—- उत्तरा फाल्गुनी 20:58:45
टो—- उत्तरा फाल्गुनी 27:32:27
*💮🚩💮 ग्रह गोचर 💮🚩💮*
ग्रह =राशी , अंश ,नक्षत्र, पद
==========================
सूर्य=धनु 27 : 29 उ oषाo , 1 भे
चन्द्र =सिंह 23°:23, पू o फ़ा o , 3 टी
बुध =धनु 17°: 34′ पूo षा o ‘ 2 धा
शुक्र=मकर 17°05, श्रवण ‘ 3 खे
मंगल=वृषभ 13°30 ‘ रोहिणी’ 2 वा
गुरु=मीन 08°30 ‘ उ o भा o, 2 थ
शनि=मकर 29°43 ‘ धनिष्ठा ‘ 2 गी
राहू=(व) मेष 15°30 भरणी , 1 ली
केतु=(व) तुला 15°30 स्वाति , 3 रो
*🚩💮 शुभा$शुभ मुहूर्त 💮🚩*
राहू काल 13:48 – 15:06 अशुभ
यम घंटा 07:17 – 08:35 अशुभ
गुली काल 09:53 – 11:11
अभिजित 12:09 – 12:50 शुभ
दूर मुहूर्त 10:45 – 11:27 अशुभ
दूर मुहूर्त 14:55 – 15:37 अशुभ
वर्ज्यम 22:18 – 24:03* अशुभ
💮चोघडिया, दिन
शुभ 07:13 – 08:31 शुभ
रोग 08:31 – 09:50 अशुभ
उद्वेग 09:50 – 11:09 अशुभ
चर 11:09 – 12:27 शुभ
लाभ 12:27 – 13:46 शुभ
अमृत 13:46 – 15:05 शुभ
काल 15:05 – 16:24 अशुभ
शुभ 16:24 – 17:42 शुभ
🚩चोघडिया, रात
अमृत 17:42 – 19:24 शुभ
चर 19:24 – 21:05 शुभ
रोग 21:05 – 22:46 अशुभ
काल 22:46 – 24:27* अशुभ
लाभ 24:27* – 26:09* शुभ
उद्वेग 26:09* – 27:50* अशुभ
शुभ 27:50* – 29:31* शुभ
अमृत 29:31* – 31:13* शुभ
💮होरा, दिन
बृहस्पति 07:13 – 08:05
मंगल 08:05 – 08:58
सूर्य 08:58 – 09:50
शुक्र 09:50 – 10:43
बुध 10:43 – 11:35
चन्द्र 11:35 – 12:27
शनि 12:27 – 13:20
बृहस्पति 13:20 – 14:12
मंगल 14:12 – 15:05
सूर्य 15:05 – 15:57
शुक्र 15:57 – 16:50
बुध 16:50 – 17:42
🚩होरा, रात
चन्द्र 17:42 – 18:50
शनि 18:50 – 19:57
बृहस्पति 19:57 – 21:05
मंगल 21:05 – 22:12
सूर्य 22:12 – 23:20
शुक्र 23:20 – 24:27
बुध 24:27* – 25:35
चन्द्र 25:35* – 26:42
शनि 26:42* – 27:50
बृहस्पति 27:50* – 28:58
मंगल 28:58* – 30:05
सूर्य 30:05* – 31:13
*🚩💮 उदयलग्न प्रवेशकाल 💮🚩*
धनु > 04:18 से 06:28 तक
मकर > 06:28 से 08:08 तक
कुम्भ > 08:08 से 09:46 तक
मीन > 09: 46 से 11:06 तक
मेष > 11:06 से 12:50 तक
वृषभ > 12:50 से 17:08 तक
कर्क > 17:08 से 19:20 तक
सिंह > 19:20 से 21:34 तक
कन्या > 21:34 से 11:44 तक
तुला > 11:44 से 02:52 तक
वृश्चिक > 02:52 से 04:02 तक
*नोट*– दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है।
प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है।
चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥
रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।
अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥
अर्थात- चर में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।
उद्वेग में भूमि सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।
लाभ में व्यापार करें ।
रोग में जब रोगी रोग मुक्त हो जाय तो स्नान करें ।
काल में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।
अमृत में सभी शुभ कार्य करें ।
*💮दिशा शूल ज्ञान————-दक्षिण*
परिहार-: आवश्यकतानुसार यदि यात्रा करनी हो तो घी अथवा केशर खाके यात्रा कर सकते है l
इस मंत्र का उच्चारण करें-:
*शीघ्र गौतम गच्छत्वं ग्रामेषु नगरेषु च l*
*भोजनं वसनं यानं मार्गं मे परिकल्पय: ll*
*🚩 अग्नि वास ज्ञान -:*
*यात्रा विवाह व्रत गोचरेषु,*
*चोलोपनिताद्यखिलव्रतेषु ।*
*दुर्गाविधानेषु सुत प्रसूतौ,*
*नैवाग्नि चक्रं परिचिन्तनियं ।।* *महारुद्र व्रतेSमायां ग्रसतेन्द्वर्कास्त राहुणाम्*
*नित्यनैमित्यके कार्ये अग्निचक्रं न दर्शायेत् ।।*
15 + 5 + 5 + 1 = 26 ÷ 4 = 2 शेष
आकाश लोक पर अग्नि वास हवन के लिए अशुभ कारक है l
*🚩💮 ग्रह मुख आहुति ज्ञान 💮🚩*
सूर्य नक्षत्र से अगले 3 नक्षत्र गणना के आधार पर क्रमानुसार सूर्य , बुध , शुक्र , शनि , चन्द्र , मंगल , गुरु , राहु केतु आहुति जानें । शुभ ग्रह की आहुति हवनादि कृत्य शुभपद होता है
गुरु ग्रह मुखहुति
*💮 शिव वास एवं फल -:*
20 + 20 + 5 = 45 ÷ 7 = 3 शेष
वृषभारूढ़ = शुभ कारक
*🚩भद्रा वास एवं फल -:*
*स्वर्गे भद्रा धनं धान्यं ,पाताले च धनागम:।*
*मृत्युलोके यदा भद्रा सर्वकार्य विनाशिनी।।*
*💮🚩 विशेष जानकारी 🚩💮*
*राष्ट्रीय युवा दिवस
*स्वामी विवेकानन्द जयंती
*💮🚩💮 शुभ विचार 💮🚩💮*
अनभ्यासे विषं शास्त्रमजीर्णे भोजनं विषम् ।
दरिद्रस्य विषं गोष्ठी वृध्दस्य तरुणी विषम् ।।
।। चा o नी o।।
जिस अध्यात्मिक सीख का आचरण नहीं किया जाता वह जहर है. जिसका पेट ख़राब है उसके लिए भोजन जहर है. निर्धन व्यक्ति के लिए लोगो का किसी सामाजिक या व्यक्तिगत कार्यक्रम में एकत्र होना जहर है.
*🚩💮🚩 सुभाषितानि 🚩💮🚩*
गीता -: विभूति योग अo-10
रुद्राणां शङ्करश्चास्मि वित्तेशो यक्षरक्षसाम् ।,
वसूनां पावकश्चास्मि मेरुः शिखरिणामहम् ॥,
मैं एकादश रुद्रों में शंकर हूँ और यक्ष तथा राक्षसों में धन का स्वामी कुबेर हूँ।, मैं आठ वसुओं में अग्नि हूँ और शिखरवाले पर्वतों में सुमेरु पर्वत हूँ॥,23॥,
*💮🚩 दैनिक राशिफल 🚩💮*
देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।
नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।
विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।
जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।
🐏मेष
मानसिक शांति के लिए किए गए प्रयास सफल रहेंगे। कोर्ट-कचहरी के कार्य मनोनुकूल रहेंगे। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। नौकरी में सहकर्मी साथ देंगे। प्रसन्नता रहेगी। किसी धार्मिक यात्रा की योजना बनेगी। पूजा-पाठ में मन लगेगा।
🐂वृष
वाहन व मशीनरी इत्यादि के प्रयोग में लापरवाही न करें। वाणी में हल्के शब्दों के प्रयोग से बचें। कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। दूसरों के कार्य में हस्तक्षेप न करें। अपेक्षित कार्यों में विलंब होगा। चिंता तथा तनाव रहेंगे। व्यापार ठीक चलेगा।
👫मिथुन
कार्यक्षेत्र के लिए नई योजना बनेगी। कार्यप्रणाली में सुधार होगा। बिगड़े काम बन सकते हैं। समाजसेवा करने का मन बनेगा। घर-बाहर पूछ-परख रहेगी। धन प्राप्ति सुगम होगी। व्यस्तता रहेगी। आराम का समय नहीं मिलेगा। थकान रहेगी।
🦀कर्क
व्यावसायिक यात्रा मनोनुकूल रहेगी। किसी प्रभावशाली व्यक्ति का सहयोग व मार्गदर्शन प्राप्त होगा। स्वास्थ्य का ध्यान रखें। व्यापार-व्यवसाय अच्छा चलेगा। जोखिम व जमानत के कार्य टालें। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे।
🐅सिंह
समाजसेवा करने की प्रेरणा प्राप्त होगी। मान-सम्मान मिलेगा। खोई हुई वस्तु मिलने के योग हैं। व्यापार-व्यवसाय अच्छा चलेगा। नौकरी में उच्चाधिकारी की प्रसन्नता प्राप्त होगी। शत्रु सक्रिय रहेंगे। जोखिम व जमानत के कार्य बिलकुल न करें।
🙍♀️कन्या
शुभ समाचार प्राप्त होंगे। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। कारोबार अच्छा चलेगा। नौकरी में सहकर्मी साथ देंगे। चिंता तथा तनाव रहेंगे। प्रतिद्वंद्विता में वृद्धि होगी। किसी आनंदोत्सव में भाग ले सकते हैं। भूले-बिसरे साथियों से मुलाकात होगी।
⚖️तुला
किसी तरह से बड़ा लाभ होने की संभावना है। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे। किसी तरह के विवाद में विजय प्राप्त होगी। स्वास्थ्य अच्छा रहेगा। कारोबार में वृद्धि होगी। नौकरी में नया कार्य मिल सकता है।
🦂वृश्चिक
कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। थकान व कमजोरी रह सकती है। अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे। कर्ज लेना पड़ सकता है। दूसरों से अधिक अपेक्षा न करें। बेवजह चिड़चिड़ापन रहेगा। वाणी पर नियंत्रण रखें। कार्य में मन नहीं लगेगा।
🏹धनु
भावना में बहकर महत्वपूर्ण निर्णय न लें। नौकरी में कार्यभार रहेगा। लाभ होगा। स्वास्थ्य के संबंध में लापरवाही न करें। स्वास्थ्य पर व्यय होगा। दु:खद समाचार मिल सकता है। क्रोध व उत्तेजना पर नियंत्रण रखें। कुसंगति से हानि होगी।
🐊मकर
मनपसंद व्यंजनों का आनंद प्राप्त होगा। विद्यार्थी वर्ग अपने कार्य उत्साह व लगन से कर पाएगा। किसी आनंदोत्सव में भाग लेने का अवसर प्राप्त हो सकता है। धन प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। व्यापार-व्यवसाय अच्छा चलेगा। प्रमाद न करें।
🍯कुंभ
घर, दुकान, फैक्टरी व शोरूम इत्यादि के खरीद-फरोख्त की योजना बनेगी। कारोबार में बड़ा लाभ हो सकता है। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। रुके काम बनेंगे। घर-बाहर उत्साह व प्रसन्नता से काम कर पाएंगे।
🐟मीन
प्रसन्नता का वातावरण निर्मित होगा। स्वास्थ्य का पाया कमजोर रहेगा। वाणी पर नियंत्रण रखें। जीवनसाथी से सहयोग प्राप्त होगा। कानूनी अड़चन दूर होकर स्थिति अनुकूल बनेगी। व्यापार-व्यवसाय अच्छा चलेगा। निवेश शुभ रहेगा। नौकरी में मातहत साथ देंगे।
🙏आपका दिन मंगलमय हो🙏
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*_72 बैंक अकाउंट, दुनिया भर से आ रहे थे पैसे, UP में खुल रहे थे ‘यीशु दरबार’: नैनी एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी से भी जुड़े ईसाइयत की प्रचार के तार_*
*_11 January, 2023_*
*_उत्तर प्रदेश के फतेहपुर जिले में ईसाई धर्मांतरण के अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क का पर्दाफाश हुआ है। बताया जा रहा है कि धर्म-परिवर्तन के लिए न सिर्फ अमेरिका, ब्रिटेन और कनाडा बल्कि पाकिस्तान से भी पैसे भेजे गए हैं। इन पैसों से न सिर्फ जिले और प्रदेश बल्कि देश के कई हिस्सों में ‘येशु दरबार’ खोले गए हैं। पुलिस ने अब तक 72 बैंक खातों का भी पता लगाया है जिसमें पैसे भेजे जा रहे थे। इस नेटवर्क के तार प्रयागराज के नैनी एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी से जुड़े पाए गए हैं।_*
*_मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, ‘नैनी एग्रिकल्चर यूनिवर्सिटी’ के बोर्ड मेंबर डॉ आईज़क फ्रेंक ने केस की जाँच कर रहे इंस्पेक्टर अमित मिश्रा के आगे अपने बयान दर्ज करवाए हैं। उन्होंने कबूल किया है कि यूनिवर्सिटी के कुलपति, उप कुलपति के साथ मैनेजिंग डॉयरेक्टर ने भी ईसाईयत के प्रचार के लिए विदेशों से पैसे मँगवाए हैं। इन सभी को अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा और पाकिस्तान से अब तक 60 करोड़ रुपए से ज्यादा फंडिंग की जानकारी सामने आई है।_*
*_दरअसल, इस पूरे मामले का खुलासा तब हुआ जब 15 अप्रैल, 2022 को फतेहपुर के हरिहरगंज इवेंजलिकल चर्च में एक सामूहिक धर्मांतरण के बारे में पता चला था। इस मामले में कुल 56 लोगों पर FIR दर्ज हुई थी। बाद में इसकी जाँच उत्तर प्रदेश की ATS को मिली थी, जिसने अपनी जाँच में पाया कि धर्मांतरण के तार प्रयागराज नैनी सैम हिग्गिनबॉटम यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर टेक्नालॉजी एंड साइंस (शुआट्स) से जुड़े थे। जाँच में यूनिवर्सिटी के सीनियर लेवल के अधिकारी शामिल पाए गए थे।_*
*_पुलिस ने अपनी कार्रवाई को गति देते हुए यूनिवर्सिटी के कुलपति जॉटी आलिवर, उप कुलपति आरबी लाल और मैनेजिंग डायरेक्टर विनोद बी लाल सहित कुल 4 लोगो को नोटिस जारी किया था। इन सभी के बयान पुलिस को संतोषजनक नहीं लगे जिसके बाद चारों को धर्मांतरण के इस केस में आरोपित किया गया। इसी यूनिवर्सिटी के बोर्ड मेंबर डॉ आईज़क फ्रेंक स्वतंत्र गवाह बन गए। उन्होंने पुलिस के आगे अपने बयान दर्ज करवाए।_*
*_फ्रेंक ने पुलिस को बताया कि 5 साल पहले एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी के निदेशक विलसन किसपोटा थे जिनके बैंक खाते में 24 करोड़ रुपए जमा थे। इस पैसे को वाइस चांसलर के साथ सोसाइटी के डायरेक्टर रंजन जान और स्टीफन दास ने धोखाधड़ी से हड़प लिया था। मामले की शिकायत तब पुलिस में हुई थी और तीनों आरोपित 31 अक्टूबर, 2018 को जेल भी गए थे। गवाह बने डॉ आईज़क फ्रेंक ने पुलिस को यह भी बताया कि अमेरिका से आए 5 लाख डॉलर से लखनऊ, मिर्जापुर, बंगलूर, रुड़की, अजमेर और इटावा में ‘येशु दरबार’ खोले गए थे।_*
*_पुलिस ने विदेशों से पैसे मँगाने वाले 72 बैंक खातों की जानकारी अब तक जुटा ली है। इसमें कनाडा के बिशप फिल की पत्नी डायना द्वारा लगभग 5 करोड़ रुपए भेजा जाना पाया गया। इन पैसों से रायबरेली जिले में थिथियोलॉजी का एक संस्थान खोला गया। बताया जा रहा इस संस्थान का मकसद ईसाईयत का प्रचार-प्रसार था। इसके अलावा पाकिस्तान के सियालकोट से भी पैसे आने की जानकारी सामने आई है। विदेशी पैसे मँगाने के लिए IDBI बैंक, बैंक ऑफ़ बड़ौदा, पंजाब नेशनल बैंक आदि के खातों का प्रयोग हुआ है।_*
*_जानकारी यह भी सामने आई है कि प्रयागराज की एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी में चंगाई सभाएँ भी आयोजित करवाई जाती रहीं हैं।
*Very clear message. Excessive secularism has unacceptable costs. सनसनीखेज़ बात विश्व में 57 मुस्लिम देशों में से 53 देशों की आर्थिक स्थिति बहुत दयनीय है और वे खाड़ी जैसे अनेक देशों की बाहरी सहायता से ही गुजर बसर करने को विवश हैं। लेकिन इन देशों में ईसाई मिशनरी भी नहीं जाती क्यों कि वहां चंगाई देने से मदर टेरेसा की भांति धर्मांतरण की दुकान नहीं चलती। बहुत स्पष्ट संदेश ये भारत को अत्यधिक धर्मनिरपेक्षता की भारी कीमत चुकानी पड़ती है विशेष रूप से मुस्लिम आतंकवाद और ईसाई धर्मांतरण के संबंध में।
सनातन धर्म एक ऐसा धर्म है जो संसार की सभी मानव सभ्यताओं ने अपने प्रारंभिक काल में अपनाया था । धीरे धीरे विभिन्न भोगोलिक क्षेत्रों में समय वा परिस्थिकीय अनुसार उसमे बदलाव लाए गए। भारत में इसमें बदलाव लाने का श्रेय जिन्होंने किया उन्हें ब्राह्मण की संज्ञा दी गई । शायद इन्होंने सबसे ज्यादा ईश्वर की मीमांसा कर ईश को ब्रह्म की संज्ञा दी, इसीलिए इन्हें ब्राह्मण नाम से पुकारा गया है ईशोपनिषद के श्लोकों से तो ऐसा ही प्रतीत होता है। शायद ही दुनिया के धर्माचार्यों ने ईश्वर पर इतना सटीक लिखा या सोचा हो जितना सनातनी ब्राह्मणों ने किया। यही कारण रहा कि संसार के सभी विद्वानों ने जब जब थियोलॉजी पर संवाद किया तो ईश्वर की सबसे सटीक व्याख्या सनातन धर्म के धर्माचार्यों द्वारा किया गया पाया गया। विदेशी विद्वानों ने इस धर्म का इसीलिए एक उपनाम ब्राह्मण धर्म भी दिया गया । जर्मन विद्वान मैक्समूलर सहित दुनिया के बहुत से स्कॉलर काशी आकार संस्कृत सीखी तथा यहां के विद्वान ब्राह्मणों के साथ परचर्चा कर सनातन धर्म को गहराई से समझा। ब्राह्मणों द्वारा अनेक महान कार्यों ( ज्योतिष ,गणित, भाषा विकास इत्यादि) के साथ साथ जो सबसे उत्तम कार्य किया वह है दीर्घ तथा स्वस्थ जीवन जीने के लिए आयुर्वेद तथा योग का आविष्कार । इसी के साथ साथ नित्य क्रियाओं जैसे ब्रह्म मुहूर्त में उठना, सुबह सुबह नित्य क्रियाओं में स्नान पूजा तथा शरीर को पवित्र बनाए रखने के लिए साफ सफाई से जीने की शैली विकसित करना। इस हेतु यज्ञोपवीत धारण करवाकर सदैव पवित्रता को जीवन भर बनाए रखने के लिए प्रोत्साहित करना। यद्यपि बहुत से लोगो ने इस तरह की जीवनशैली नही अपनाई,परंतु ऐसी जीवनशैली अपनाने वालों का सम्मान समाज में बढ़ा तथा संकट के समय ऐसे लोग बहुत से निदान इस तरह जीने का उपचार बता कर किया भी । मुझे याद है हमारे परिवार के कुलगुरू वा पुरोहित श्री मंगल प्रसाद तिवारी , जिन्हे हम लोग मंगल पंडित के संबोधन से पुकारा करते थे , जो हमारे बाबा श्री बिहारी सिंह जिन्हे क्षेत्र में लंबरदार कहते थे के अभिन्न मित्र वा हम उम्र होने के नाते हम भी उन्हें मंगल बाबा ही पुकारा करते थे। मेरी बचपन की दिनचर्या उन्ही मंगल बाबा की डाली हुई है जिसमे ब्रह्म मुहूर्त में उठना स्नान करना , पूजा के रूप में हनुमान चालीसा पढ़कर अपनी पढ़ाई ब्रह्म मुहूर्त में ही प्रारंभ कर देना शामिल था। प्रत्येक दिन मंगल बाबा हमारे यहां अपने ग्राम लक्ष्मण पुर से आते थे तथा एक आध गीता का श्लोक सुनाकर धर्म चर्चा प्रारंभ करते थे। मेरे बाबा प्रतिदिन शाम को मुझसे रामायण अवश्य सुनते थे क्योंकि वे पढ़े लिखे नही थे। मंगल बाबा खुद बताते थे की वे चहर्रुम (कक्षा चार)पास है। उस समय प्राथमिक शिक्षा चहर्रम तक ही होती थी । जूनियर कक्षा ५ से ७ तक थी। उन्ही मंगल बाबा के छोटे दामाद इस ग्रुप के मुख्य सक्रिय सदस्य श्री कृष्ण कुमार जी है जिनकी शादी में मेरे बाबा श्री बिहारी सिंह जी ने भी पैर पूजा था, तथा मैं भी उस शादी में नुक्त्ती की मिठाई खाई थी। यह वह जमाना था जब ग्राम में सबसे अच्छी शादियों में ही मीठा के रूप में नुक्तियां बनती थी। इस नाते श्री कृष्ण कुमारजी हमारे फूफा है। आज मेरे बौद्धिक उत्थान में मंगल बाबा द्वारा दी गई नित्य कर्म का अभ्यास तथा धार्मिक शिक्षा का बड़ा योगदान है। इस प्रकार ब्राह्मणों ने नित्य कर्मों से समाज को स्वस्थ और संस्कार समृद्ध बनाने की जो पूंजी सनातन समाज को जो दी है वह अद्वतीय है। हर 5-10 गाँव के बीच “कोंवेंट” और “मदरसे” हैं पर सैकड़ों सैकड़ों किलोमीटर के बीच कोई “गुरुकुल” नहीं मिलता
हर गली चौराहे पर मजार, मस्जिद है पर कई कई गांवों के बीच कोई यज्ञशाला नहीं मिलती
मजारों पर चादर चढाते,सर रगड़ते रोज लाखों जाते है, यज्ञ कितने करते हैं ????
जींस लटकाए बुड्ढे दिखाई देते हैं धोती वाले बाबा अब लुप्त हो गए हैं और हम अभिमान करते हैं कि सनातनियों को कोई मिटा नहीं सकता
वैसे और किस तरह मिटना चाहते हो ????
पग पग भूमि और घर घर से सनातन संस्कृति नष्ट हो गयी, क्या अभी कुछ और शेष है ???
जिस व्यक्ति के अन्दर सनातन संस्कृति नहीं क्या उसे भी सनातनी कहोगे ????
वो व्यक्ति वो घर सनातनी नहीं जिस के घर गाय ना हो जिस के घर यज्ञ ना हो तुम्हारे अन्दर का सनातनी उसी दिन मर गया था जिस दिन तुम्हारे घर से “यज्ञ की अग्नि” और “गाय” को निकाल दिया था, अब तो तुम्हारा कोरा भ्रम है कि तुम सनातनी हो
क्यों झूठा घमंड करते हो नादानों ????
ये झूठा भ्रम भी ज्यादा दिन नहीं कर पाओगे
ईसाईयों ने ईसा मसीह को मानते हुए ही दुनिया भर में 150 देशों तक अपनी पहुँच बना ली !
मुसलमानों ने मुहम्मद के दम पर ही 56 देशों तक अपनी पकड़ बना ली !
हिन्दुओं ने खुद ही अपने पैरों में कुल्हाड़ी मारते हुए ‘श्री राम’ को छोड़ रामपाल जैसों को अपना लिया!
श्री कृष्ण को छोड़ साईं बाबा संग प्रीत लगा ली !
‘गुरु नानक के सच्चे सौदे को बिसार राम रहीम को सच्चा सौदा बना दिया !
गुरु गोबिंद सिंह की बहादुरी छोड़ कायरता को अपना लिया!
हनुमान के ब्रह्मचार्य त्याग ओशो का संभोग अपना लिया!
भगत सिंह, चन्द्रशेखर आज़ाद को छोड़, नक्सली, माओवादी, कन्हैया जैसों को अपना लिया!
हिन्दुओं ने महानता छोड़ दी और तुच्छ जीवन जीने की शैली अपना ली!
शाकाहार छोड़ दिया और माँसाहार अपना लिया!
विज्ञान और धर्म की शिक्षा देने वाले वेद छोड़ दिये और जादू, टोना, चमत्कार और तंत्र अपना लिए!
अब भी कुछ नहीं बिगड़ा, इतनी देर अभी नहीं हुई कि लौटा न जा सके!
अपने मूल की ओर लौटे
और फिर देख कैसे भारत फिर दुबारा विश्व का सिरमौर बनता है।
‘सर्व धर्म समभाव’ वाली सोच हिन्दूओं का अस्तित्व समाप्त कर देगी !!