पांच पहर काम (कर्म) किया, तीन पहर सोए, एको घड़ी न हरी भजे तो मुक्ति कहाँ से होए। . *।। ॐ ।।* 🚩🌞 *सुप्रभातम्* 🌞🚩
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पांच पहर काम (कर्म) किया, तीन पहर सोए, एको घड़ी न हरी भजे तो मुक्ति कहाँ से होए। . *।। ॐ ।।* 🚩🌞 *सुप्रभातम्* 🌞🚩
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